महाराष्ट्र विधानसभा चुनाव 2024: जानें चुनावी परिदृश्य, प्रमुख टकराव और एग्जिट पोल की उम्मीदें

नवंबर 20 2024

महाराष्ट्र विधानसभा चुनाव 2024: पूरा परिदृश्य

महाराष्ट्र में हुए विधानसभा चुनाव ने एक बार फिर से राज्य की राजनीति के परिदृश्य को नए सिरे से निर्धारित किया है। 20 नवम्बर 2024 को संपन्न हुए इस चुनाव में राज्य की 288 विधानसभा सीटों के लिए 4,140 उम्मीदवारों ने चुनाव लड़ा। भाजपा के नेतृत्व वाले महायुति गठबंधन और महाविकास अघाड़ी के बीच प्रतियोगिता ने अपनी आक्रामकता में कोई कसर नहीं छोड़ी। इस बार महायुति का नेतृत्व देवेंद्र फडणवीस, एकनाथ शिंदे और अजित पवार द्वारा किया गया, जबकि विपक्ष में महाविकास अघाड़ी के पास कांग्रेस और उद्धव ठाकरे के शिवसेना (यूबीटी) का नेतृत्व था।

महत्वपूर्ण चुनावी टकराव

इन चुनावों में कुछ सीटों पर होने वाले टकराव ने विशेष ध्यान आकर्षित किया। इनमें पहली सीट बारामती रही, जहाँ उपमुख्यमंत्री अजित पवार ने अपने ही भतीजे, योगेन्द्र पवार से मुकाबला किया। नागपुर दक्षिण पश्चिम में देवेंद्र फडणवीस और कांग्रेस के प्रफुल्ल गुढ़ाधे के बीच कड़ी टक्कर देखी गई। वहीं, कोपरी-पाचपाखड़ी में मुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे अपने ही क्षेत्र को बनाए रखने के लिए कठिन चुनौती में रहे, जहां वे शिवसेना (यूबीटी) के आनंद दिघे से मुकाबला कर रहे थे।

महायुति बनाम महाविकास अघाड़ी

इस चुनाव को भाजपा और उसके क्षेत्रीय गठबंधनों के लिए एक महत्वपूर्ण इम्तिहान के रूप में देखा जा रहा है। हाल ही में हुए लोकसभा चुनावों में महाविकास अघाड़ी ने महायुति गठबंधन को हराने में सफलता प्राप्त की थी, जहां महाविकास अघाड़ी ने 48 में से 30 सीटों पर जीत हासिल की थी। महायुति केवल 17 सीटों पर सफल हो पाई, जबकि दोनों गठबंधनों के बीच वोट-शेयर में महज 1% का अंतर देखा गया।

एग्जिट पोल की घोषणा और राजनीतिक दांव

एग्जिट पोल की घोषणा और राजनीतिक दांव

आज एग्जिट पोल के नतीजे घोषित किए जाएंगे, जो मतदाताओं के मनोभाव को इंगित करेंगे, लेकिन यह ध्यान देने योग्य है कि एग्जिट पोल हमेशा सटीक नहीं होते। जैसा कि 2019 के चुनावों में देखा गया, जहां पोलस्टर्स ने भाजपा-शिवसेना गठबंधन के लिए लगभग 46 सीटों की अति सावधानी दिखाई थी।

इस बार के चुनाव कई ज्वलंत मुद्दों के बीच आए। बढ़ती महंगाई और बेरोजगारी प्रमुख विषय रहे। विशेष रूप से पहली बार के मतदाताओं और युवा जनसंख्या ने अधिक नौकरियों और महिलाओं के लिए सुरक्षा की मांग की है। विद्यमान समस्याओं और युवा शक्ति की उदीयमान संभावनाओं के बीच, महाराष्ट्र का इस चुनाव में भविष्य तय हो सकता है।

चुनाव परिणामों की गिनती 23 नवम्बर को शुरू होगी, जो झारखंड विधानसभा चुनाव और कुछ राज्यों में उप-चुनावों के नतीजों के साथ ही संपन्न होगी। एक नई राजनीतिक तस्वीर का स्वागत करते हुए, यह देखना दिलचस्प होगा कि क्या यह चुनाव वास्तव में भारतीय राजनीति के सांस्कृतिक और आर्थिक परिदृश्य को बदलने में सक्षम होगा।

एक टिप्पणी लिखें